Us Malik Ki Daya Se
उस मालिक की दया से अब तो
खुशियों की बरसात हुई
बरसात हुई
बरसात हुई
ओ हर दिन अपना हुआ दुपहर
और रात शब् रात हुई
शब् रात हुई
शब् रात हुई
झूमो नाचो गाओ इतना
हाँ झूमो नाचो गाओ इतना (हाँ झूमो नाचो गाओ इतना)
यही सुबह से शाम करो (यही सुबह से शाम करो)
काम करो हा काम करो
सुबह करो और शाम करो
हाय काम करो हा काम करो
सुबह करो और शाम करो
जिसके सीने में हिम्मत है उसके साथ नसिब रहे
हाँ नसीब रहे
हो हो जहां फसल हर साल पके
वो देश न कभी गरीब रहे
न गरीब रहे
फसल से चाहे घर भर जाये
फसल से चाहे घर भर जाये
फिर भी न आराम करो
काम करो हा काम करो
सुबह करो और शाम करो
हाय काम करो हा काम करो (हाँ)
सुबह करो और शाम करो (हाँ)
हाय काम करो हा काम करो (हाँ)
सुबह करो और शाम करो (हाँ)
हाय काम करो हा काम करो (हाँ)
सुबह करो और शाम करो (हाँ)
हाय काम करो हा काम करो (हाँ)
सुबह करो और शाम करो (हाँ)
हाय काम करो हा काम करो (हाँ)
सुबह करो और शाम करो (हाँ)